– भरतचन्द्र नायक भारतीय संसद ने वस्तु एवं सेवा कर विधेयक (जीएसटी) पर अपनी मोहर लगाकर आर्थिक उदारीकरण के पश्चात् आजादी के बाद एक ऐतिहासिक आर्थिक सुधार किया है। यह वास्तव में भारतीय अर्थव्यवस्था में विकासोन्मुखी बदलाव लाकर गेम चेंजर सिद्ध होगा, जिसे चलतू भाषा में पासा पलटना कहते है। इससे ‘वन इंडिया-वन मार्केट’ की […]
– भय्यूजी महाराज हमारी संस्कृति में प्रत्येक त्यौहार का अपना महत्व है। रक्षाबंधन पवित्रता का त्यौहार है। बहन और भाई के प्रेम का त्यौहार है। इस त्यौहार की प्रतिक्षा भाई बहनों को वर्ष भर रहती है। बहन भाई की कलाई पर रक्षा सूत्र के रूप में राखी बांधती है और भाई उसकी रक्षा का, उसकी […]
– सुरेश हिंदुस्थानी भारत विभाजन के बाद पाकिस्तान द्वारा कूटनीतिक तरीके कब्जा किए गए पाक अधिकृत कश्मीर के बारे में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने जो बयान दिया है, वह अत्यंत ही अभिनंदनीय है। प्रधानमंत्री ने सर्वदलीय बैठक में साफ तौर पर कहा है कि पाकिस्तान के अधिकार क्षेत्र में आने वाला काश्मीर भारत का हिस्सा […]
– डॉ. मयंक चतुर्वेदी जीवन सतत है और देह क्षणभृंगुर।देह पंचमहाभूतों का सार तत्व है और यह देह तभी अपने आकार को प्राप्त करती है,जब चेतना इसमें प्रतिष्ठित होती है। मृत्यु लोक जीवन के नानाविध रूपों के प्रकटीकरण का आश्रयस्थल है। जहां न जाने कितने प्रकार के जीव अपने स्वरूपों में स्वधर्म के साथ गोचर […]
– सुधांशु द्विवेदी 15 अगस्त को हम आजादी की 70वीं वर्षगांठ मनाने जा रहे हैं। यह सुअवसर है उन महान स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के पुण्य स्मरण एवं उनके प्रति श्रद्धावनत होने का, जिनके महान् बलिदान की बदौलत देश को आजादी मिली। साथ ही स्वतंत्रता दिवस पर हमें राष्ट्र के कायाकल्प में अपना उत्कृष्ट योगदान सुनिश्चित […]
– राजनाथ सिंह सूर्य वस्तु एवं सेवाकराधान के लिए राज्य सभा द्वारा सर्वसम्मति से पारित संविधान संशोधित विधेयक-जिस पर दो वर्ष से संशय के बादल छाए हुए थे, मोदी सरकार की सबके साथ सबका विकास की दिशा में बढ़ा यह महत्वपूर्ण कदम है। हर कदम पर मोदी सरकार के विरोध पर प्रतिबद्ध कांग्रेस-जो इस संशोधन […]
– डॉ. मयंक चतुर्वेदी भारतीय रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (आरबीआई) द्वारा लिया गया यह निर्णय निश्चित ही स्वागत योग्य है, जिसमें उसने यह सुनिश्चित किया है कि बैंकों की लापरवाही या असावधानी की वजह से यदि किसी के साथ कोई फ्रॉड, फर्जी बैंकिंग लेनदेन हुआ है अथवा इस प्रकार की कोई घटना घटती है, तो […]
– आर.के.सिन्हा स्टार क्रिकेटर गौतम गंभीर ने अपनी मृत्यु के बाद अपने अंगों को दान देने का फैसला किया है। गंभीर ने कहा, ‘हजारों लोग हर साल अंग न मिलने की वजह से मर जाते हैं। मुझे लगता है कि अंग दान देने से हम इस कमी को कुछ हद तक पूरा कर सकते हैं, […]
– डॉ. मयंक चतुर्वेदी रैगिंग शिक्षण संस्थानों में सीनियर छात्र-छात्राओं द्वारा जूनियर विद्यार्थियों को दिया जाने वाला वह जख्म है, जिसके होने के बाद कई बार इंसान अपने को इतना अपमानित महसूस करता है कि वह पढ़ाई छोडऩे से लेकर आत्महत्या करने जैसे आत्मघाती कदम तक उठा लेता है। नवागत विद्यार्थी के आत्म परिचय से […]
– प्रवीण गुगनानी इस देश के शीर्ष पुरुष गाय पर कोई पहली बार नहीं बोले हैं. हिन्दू शासक तो गाय के विषय में संवेदनशील रहे ही हैं मुगल भी मज़बूरी में गौरक्षा को लेकर सचेत रहे हैं. बाबर ने अपने पुत्र हुमायूं को लिखा था कि उसके राज्य में कभी गौहत्या न होने पाए, अबुल […]
– सुधांशु द्विवेदी देश में संचालित सांसद आदर्श ग्राम योजना मजाक सी बनकर रह गई है। विडंबना यह है कि शुरुआती दौर में इस योजना का प्रचार तो बढ़-चढक़र किया गया तथा ऐसा लगा कि यह योजना देश के ग्रामीण क्षेत्रों के लिये शायद इतनी मूल्यवान व उपयोगी साबित होने वाली है कि ग्राम्य जनजीवन […]
– डा. वेद प्रताप वैदिक प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पहले दलितों के बारे में साहसिक बयान दिया और अब कश्मीर के बारे में! कश्मीर के बारे में उन्होंने कहा कि कश्मीरियों को वही आजादी है, जो शेष भारतीयों को है। कश्मीर के बच्चों के हाथ में पत्थर नहीं, लेपटॉप होने चाहिए। दोनों बातें बहुत बढ़िया […]